तेल से सने हाथों का दबाव बढ़ जाता है, मालिश अंतरंग हो जाती है। जब उंगलियां खोजती हैं तो नरम कराहें गूंजती हैं, जोश भड़कता है। उत्सुक शरीर आपस में जुड़ते हैं, रिहाई की मांग करते हैं। खुशी की लहरें दुर्घटनाग्रस्त हो जाती हैं, जिससे वे खर्च हो जाते हैं और तृप्त हो जाते हैं।